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j&k की IAS डॉ. सेहरिश को PM मोदी ने किया सम्मानित, घाटी में अमन की कोशिशों के लिए हो रही तारीफ

New Delhi: डॉ. सैयद सेहरिश असगर IAS बनने से पहले एमबीबीएस डॉक्टर हुआ करती थीं। एमबीबीएस डिग्री लेने के बाद वह जम्मू में प्रैक्टिस भी कर चुकी हैं। साल 2013 में वह यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा पास करके आईएएस अधिकारी बनी थीं। इससे पहले वह कश्मीर प्रशासनिक सेवा परीक्षा 2010 की टॉपर रही हैं। जम्मू कश्मीर के किश्तवार से ही ताल्लुक रखने वालीं सैयद सेहरिश असगर घाटी के लोगों के बीच सक्रिय हैं। उनकी सक्रियता और लोगों की मदद करने का अंदाज इन दिनों खूब सुर्ख़ियों में है।

डॉ सैयद सेहरीश असगर आईएएस से पहले आईपीएस बनी थीं। बडगाम जिले की एडिशनल सुपरिंटेंडेंट ऑफ पुलिस यानी एएसपी रह चुकी हैं। वह पंजाब बैच की आईएएस अधिकारी हैं। वह पंजाब के अलावा केंद्र सरकार के भी विभिन्न पदों पर काम कर चुकी हैं। जम्मू-कश्मीर में फिलहाल डेप्यूटेशन पर हैं।

जम्मू-कश्मीर के केंद्र शासित राज्य बनने से पहले आईएएस अधिकारी डॉ सैयद सेहरिश असगर श्रीनगर में डायरेक्टर ऑफ इन्फॉर्मेशन के रूप में भी काम कर चुकी हैं। अनुच्छेद 370 हटाए जाने के बाद से जम्मू कश्मीर में अब तक कोई बड़ी अप्रिय स्थिति सामने नहीं आई है, लेकिन फिर भी हालात तनावपूर्ण हैं। केंद्र सरकार वहां हर हाल में शांति की कोशिश कर रही है। वहीं, एक महिला आईएएस अधिकारी भी अपनी कोशिशों के चलते सुर्ख़ियों में है।

कश्मीर में किसी को बाहर रह रहे अपने परिजनों से बात करनी है, किसी और मदद की ज़रूरत है या फिर मीडिया तक हालात की जानकारी देनी है, इसके लिए वह हर समय तैयार हैं। इन कोशिशों के चलते यह महिला आईएएस अधिकारी बेहद चर्चा में है। उनका काम सरकारी कामों की सूचना मीडिया को देना है, लेकिन पिछले कई दिनों से वह अलग भूमिका के साथ लोगों के बीच सक्रिय हैं।